एमडीए की निगरानी में लोहिया प्रबंधन ने स्वयं शुरू की ध्वस्तीकरण की कार्रवाई

मुरादाबाद विकास प्राधिकरण की टीम जेसीबी के साथ पहुंची, फर्म स्वामी बोले- निर्माण ध्वस्त करने को मिला एमडीए से समय

मुरादाबाद विकास प्राधिकरण अवैध निर्माण के खिलाफ लगातार कार्रवाई कर रहा है। जिसके तहत सोमवार को एमडीए की टीम गागन तिराहा स्थित लाकड़ी फाजलपुर मिनी बाईपास रोड पर लोहिया निर्यात फर्म पर कार्रवाई करने पहुंची। एमडीए की टीम ने जेसीबी मशीन के साथ पहुंची, लेकिन बाद में लोहिया फर्म की ओर से निर्माण को स्वयं तोड़ने का समय ले लिया गया। अब एमडीए की टीम की निगरानी में निर्माण को फैक्ट्री प्रबंधन तोड़ा जा रहा है।

लगभग एक महीने पहले मुरादाबाद विकास प्राधिकरण द्वारा गागन तिराहा स्थित मिनी लाकड़ी बाईपास रोड पर बनी लोहिया निर्यात फर्म के कुछ निर्माण को अवैध बताते हुए नोटिस जारी किया था। जिसमें एमडीए ने कहा था कि लोहिया फर्म द्वारा जो अवैध निर्माण किया गया है, उसे खुद तोड़ लिया जाए। हालांकि एमडीए के नोटिस मिलने के बाद फर्म द्वारा निर्माण को तोड़ने के लिए समय लिया गया था। लेकिन, एक महीना बीतने के बाद निर्माण पूरी तरह नहीं टूट पाया।

जेसीबी लेकर पहुंची एमडीए की टीम

सोमवार को मुरादाबाद विकास प्राधिकरण की टीम जेसीबी मशीनें और फोर्स लेकर फैक्ट्री परिसर पहुंची। टीम ने पहले फर्म परिसर के अंदर अवैध निर्माण की नापजोख की। जिसके बाद जेसीबी से निर्माण को तोड़ना शुरू किया तो उस समय काफी सामान और कुछ श्रमिक अंदर मौजूद थे। जिसके चलते लोहिया फर्म के मैनेजमेंट ने एमडीए के अधिकारियों से कहा कि हम खुद ही इस निर्माण को तोड़ रहे हैं। जिसके बाद एमडीए टीम की मौजूदगी में फैक्ट्री प्रबंधन ने अवैध निर्माण को ध्वस्त करने का काम शुरू किया।

एमडीए टीम पहुंचने के बाद अपनाा पक्ष रखते लोहिया निर्यात फर्म के स्वामी वीके गुप्ता

एमडीए की ओर से मिला समय : वीके गुप्ता, फर्म स्वामी

लोहिय फर्म के स्वामी वीके गुप्ता ने बताया कि मुरादाबाद विकास प्राधिकरण की ओर से हमें निर्माण को स्वयं तोड़ने के लिए समय दिया गया है। जिसके बाद एमडीए की टीम की निगरानी में हमारी टीम एमडीए द्वारा बताए गए निर्माण को तोड़ रही है। जल्दी ही कार्य पूरा कर लिया जाएगा।

मंडलायुक्त के यहां से खारिज हो चुकी है अपील

एमडीए सचिव अंजूलता ने बताया कि लाकड़ी बाईपास रोड पर लोहिया ब्रास फर्म पर अवैध निर्माण का मामला संज्ञान में आया था। पूरे मामले की गंभीरता के साथ जांच कराई। फर्म द्वारा 1988 और 1989 में नक्शे पास कराए गए थे। इसके विपरीत फर्म के अंदर निर्माण किया गया। जांच में भी इसकी पुष्टि की जा चुकी है। इसके बाद ध्वस्तीकरण का आदेश पारित किया गया था। मंडलायुक्त के यहां की गई अपील खारिज होने के बाद सोमवार को ध्वस्तीकरण शुरू कराया गया।

चार मई को एमडीए ने कराई थी मुनादी

लोहिया निर्यात फर्म में हुए निर्माण के ध्वस्तीकरण के आदेश होने के बाद एमडीए ने लोहिया ब्रास को नोटिस देकर एक माह का समय दिया था। इस अवधि में अवैध निर्माण को खुद ही तोड़ने के लिए कहा गया था। नोटिस के बाद भी लोहिया ब्रास द्वारा बिना मानचित्र निर्माण को तोड़ने की कार्रवाई नहीं की गई। इसके बाद शनिवार 4 मई को एमडीए ने लोहिया ब्रास पहुंचकर मुनादी कराई थी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *